Homeopathic Medicine For Peevishness In Hindi [ चिड़चिड़ापन का होम्योपैथिक दवा ]

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लाइकोपोडियम 30 – झगड़ालू तथा चिड़चिड़ेपन का स्वभाव, दूसरों से झगड़ा मोल लेने के लिए तत्पर बने रहना, अन्य लोगों को छेड़खानी करते रहना, हर समय दूसरे के दोष देखना एवं उन पर रौब जमाने का प्रयत्न करना तथा स्वयं किसी बात को सहन न कर पाना – ऐसे उग्र-स्वभावी व्यक्ति के लिए हितकर रहता है ।

नक्स-वोमिका 30 – तेज चिड़चिड़ापन तथा झगड़ालू स्वभाव, अपने रास्ते में किसी प्रकार की रुकावट बर्दाश्त न कर पाना, अपने झगड़ालूपन का प्रदर्शन केवल तभी करना – जब कोई दूसरा व्यक्ति आ भिड़े – इन लक्षणों वाले रोगी को लाभप्रद है ।

आरम-मेट 30 – झगड़ालूपन तथा चिड़चिड़ेपन के साथ ही पर्याय क्रम से हँसी मजाक एवं प्रसन्नता का भी प्रदर्शन करना, कभी झुंझलाना और कभी प्रसन्न होना – इन लक्षणों में लाभकारी है।

फेरम-मेट 30 – अपनी बात को कोई दूसरा टोक दे तो उसे सहन न कर पाना, झगड़ालूपन तथा लड़ाकूपन की प्रवृत्ति, परन्तु थोड़ा-सा बोलने अथवा चलने से ही थक जाना एवं चेहरे पर लाली तथा पीलेपन का आते-जाते बने रहना – इन लक्षणों में प्रयोग करें । इस औषध के रोगी देखने में हृष्ट-पुष्ट एवं बलवान प्रतीत होते हुए भी वास्तव में कमजोर होता है ।

कैमोमिला 30 – बच्चों का दाँत निकलते समय अत्यधिक झुंझलाना, हाँफना, कभी-कभी किसी वस्तु को माँगना और मिल जाने पर उसे झुंझला कर फेंक देना – इन लक्षणों में हितकर है ।

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